प्रदेश के स्कूल-कॉलेज में वीडियो रील नहीं बना सकेंगे शिक्षक, नियमों की अनदेखी पड़ेगी भारी
प्रदेश के शिक्षण संस्थानों को उच्च शिक्षा निदेशालय ने जारी किए निर्देश
स्कूलों में डांस सहित अन्य गैर जरूरी वीडियो हो रही थी वायरल
प्रदेश के शिक्षण संस्थानों में किसी भी तरह की वीडियो और रील बनाने तथा उसे सोशल मीडिया पर वायरल करने को लेकर उच्च शिक्षा निदेशालय ने सख्त कदम उठाया है। सभी स्कूल और कालेज के मुखियाओं को निर्देश जारी किए हैं कि कैंपस में स्कूल टाइमिंग के दौरान वीडियो या रील बनाने पर पूरी तरह से प्रतिबंध रहेगा। खासकर शिक्षक जो वीडियो और रील बनाकर उसे सोशल मीडिया पर वायरल कर रहे हैं उसे पर अब लगाम लगेगी। पिछले काफी समय से यह देखने में आ रहा है कि स्कूली बच्चों के छोटे-छोटे डांस और अन्य एक्टिविटीज से जुड़े ऐसे वीडियो और रील बनाकर उन्हें सोशल मीडिया पर अपलोड किया जा रहा था। शिक्षा विभाग का यह मानना है कि इससे बच्चों की पढ़ाई पर सीधा असर तो पड़ ही रहा था और यह रील और वीडियो का संबंध पढ़ाई से बिलकुल भी नहीं होता है।
ऐसे में बच्चों को इसका लाभ मिले या न मिले लेकिन उनकी सोशल मीडिया से एक्टिविटी बढ़ रही थी। बच्चे पढ़ाई में मन लगाकर इन वीडियो और रील की तरफ भी ज्यादा आकर्षित होते हैं। ऐसे में अब उच्च शिक्षा निदेशालय के निदेशक डाक्टर अमरजीत शर्मा की ओर से यह सख्त निर्देश जारी किए हैं। इस बारे में सभी जिलों को सर्कुलर जारी किया है कि ऐसी कोई भी वीडियो और रील बनाने की अनुमति कैंपस में नहीं होगी। शिक्षा विभाग का कहना है कि इन एक्टिविटीज को करवाने के लिए अलग से जीरो पीरियड स्कूलों में होते हैं।
छात्रों में बढ़ रहा रील बनाने का ट्रेंड
बदलते आधुनिक युग ने आमजन को कुछ सुविधाएं प्रदान की हैं, तो कुछ नुकसान भी दिए हैं।