बाहरी राज्यों में प्रयोग हुए हिमाचल के 11979 खाते
हजारों प्रदेशवासियों के साथ प्रवासियों ने भी ठगों को दिए अपने खाते, कमीशन के लालच में जालसाजों के चंगुल में फंस रहे
एक तरफ जहां प्रदेश में साइबर ठगी के मामले हर रोज बढ़ रहे हैं। वहीं इस कड़ी में पहाड़ी राज्यों के लोगों की भी मिलीभगत कम नहीं है। हिमाचल प्रदेश में विभिन्न बैंकों में खोले गए ऐसे 11979 बैंक खातों की पहचान हुई है, जिनका प्रयोग बाहरी राज्यों में ठगी के लिए जालसाजों द्वारा किया गया है। प्रदेश के हर जिला में सरकारी बैंकों से लेकर निजी बैंकों में ऐसे खातें मिले हैं। साइबर क्राइम की भाषा में ऐसे खातों को म्यूल अकाउंट कहा जाता है। इन खातों के जरिए ठगी का पैसा एक खाते से दूसरे खाते में भेजा जाता है। इसके साथ कई खातों का प्रयोग मनी लांडरिंग के लिए भी किया गया है। अकेले मंडी में ही ऐसे 492 खाते में मिले हैं। इन खातों में ठगी के करोड़ों रुपए आगे से आगे भेजे गए हैं। हिमाचल के बैंकों से संंबंधित इन खातों में उत्तर प्रदेश, दिल्ली, कर्नाटक, गुजरात, उत्तराखंड, बिहार और अन्य कई राज्यों से ठगी के पैसे भेजे गए हैं। इन खातों को खाताधारकों ने कमीशन के लिए साइबर ठगों को दे रखा है। बदले में इन लोगों को हर ठगी में से कमीशन दिया जाता है। कई मामलों में बैंक खाते बेच दिए गए हैं।
इन खातों के धारक हिमाचल के निवासियों के साथ बड़ी संख्या में प्रवासी भी हैं। ऐसे खातों में से सैकड़ों खातों को साइबर पुलिस द्वारा फ्रीज भी करवाया जा चुका है, लेकिन फिर भी इनकी संख्या बढ़ रही है। साइबर जालसाज इन खातों में पैसा भेजे कर उसे एक खाते से दूसरे खाते में आगे भेजते हैं और इन्हीं खातों में से पैसा भी निकालते हैं। ऐसे सभी खातों के एटीएम और अन्य नेट बैंकिंग व मोबाइल बैंकिंग डिटेल साइबर ठगों द्वारा ले ली जाती है